पंचगनी का टेबल लैंड देश का
सबसे बड़ा और दुनिया में दूसरा सबसे बड़ा टेबल लैंड है। आखिर टेबल लैंड क्या है।
आप जानते हैं कि पहाड़ आम तौर पर उबड़ खाबड़ होते हैं। लेकिन यहां बहुत बड़ी समतल
सतह है जिसे टेबल लैंड कहते हैं। टेबल लैंड लोकप्रिय नाम है पर यह पठार (PLATEAU) है। तिब्बत के पठार के बाद यह एशिया में दूसरा सबसे ऊंचा पठार है। यह दक्कन के पठार का हिस्सा है। ऐसा माना जाता है कि यह बड़े ज्वालामुखी के विस्फोट के बाद बना होगा। इसलिए इस पठार के आसपास गहरी खाई नजर आती है। पंचगनी
का ये टेबल लैंड 99 एकड़
में फैला है। ऐसा लगता है भगवान जी का डायनिंग टेबल हो। यह पंचगनी का बड़ा टूरिस्ट स्पॉट है।
बग्घियों से करें सैर या पैदल पैदल - यहां पर टेबल लैंड घूमाने के लिए यहां बग्घियां चलती हैं। वैसे आप की मर्जी आप पैदल भी घूम सकते हैं। पर घूमते घूमते थक जाएंगे। हमने कोई बग्घी नहीं की। पर पैदल पैदल टेबल लैंड की सैर की। हालांकि दोपहर की धूप में ज्यादा नहीं घूम सके। टेबल लैंड किनारे की तरफ से घाटियों का मनोरम नजारा दिखाई देता है।
बग्घियों से करें सैर या पैदल पैदल - यहां पर टेबल लैंड घूमाने के लिए यहां बग्घियां चलती हैं। वैसे आप की मर्जी आप पैदल भी घूम सकते हैं। पर घूमते घूमते थक जाएंगे। हमने कोई बग्घी नहीं की। पर पैदल पैदल टेबल लैंड की सैर की। हालांकि दोपहर की धूप में ज्यादा नहीं घूम सके। टेबल लैंड किनारे की तरफ से घाटियों का मनोरम नजारा दिखाई देता है।
पंचगनी - टेबल लैंड के पास पांडव गुफा में |
पांडव गुफा के अंदर - टेबल लैंड के पास एक गुफा और इसके अंदर एक मंदिर भी है। इसे पांडव गुफा भी कहते हैं। कहा जाता है पांडवों ने अज्ञात वास के दौरान इस गुफा में भी कुछ समय तक अपना वक्त बिताया था। इसलिए लोगों ने इसे नाम दिया है पांडव गुफा। हमलोग सीढ़ियां उतरकर गुफा के अंदर पहुंचे। दोपहर की गरमी पर गुफा के अंदर शीतलता है।
सिडनी
प्वाइंट में हुई थी सरगम की शूटिंग - सिडनी
प्वाइंट पंचगनी का प्रसिद्ध दर्शनीय स्थल है। यह पंचगनी शहर से थोड़ा बाहर है। हमारी
टैक्सी इस प्वाइंट पर पहुंच चुकी है। यहां ऋषि कपूर जया प्रदा की प्रसिद्ध फिल्म
सरगम की शूटिंग हुई थी। यह जया प्रदा की पहली हिंदी फिल्म थी। खास तौर पर अपने
संगीत के लिए फिल्म को याद किया जाता है। फिल्म के प्रसिद्ध गीत डफली
वाले डफली बजा... काफी लोकप्रिय हुआ था। फिल्म का क्लाइमेक्स दृश्य सिडनी प्वाइट पर ही फिल्माया गया था।
हालांकि तब यहां सीढ़ियां चढ़ने पर एक मंदिर हुआ करता था जो अब यहां दिखाई नहीं देता
है। सरगम फिल्म का एक गीत राम जी निकली सवारी... का फिल्मांकन पास के वाई में हुआ था। वैसे फिल्म के कुछ गानों की शूटिंग कश्मीर, ऊटी और राजामुंदरी में हुई थी।
ठंडी हवा के हल्के झोंके - सिडनी प्वाइंट पर दोपहर में भी ठंडी-ठंडी हवा आती रहती है। इतनी तेज हवा की गोरी का दुपट्टा लहराने लगता है। और ये गीत बरबस याद आता है... हवा में उड़ता जाए मोरा लाल दुपट्टा मलमल.... सिडनी प्वाइंट से कृष्णा नदी पर बने धूम बांध का सुंदर नजारा दिखाई देता है।
ठंडी हवा के हल्के झोंके - सिडनी प्वाइंट पर दोपहर में भी ठंडी-ठंडी हवा आती रहती है। इतनी तेज हवा की गोरी का दुपट्टा लहराने लगता है। और ये गीत बरबस याद आता है... हवा में उड़ता जाए मोरा लाल दुपट्टा मलमल.... सिडनी प्वाइंट से कृष्णा नदी पर बने धूम बांध का सुंदर नजारा दिखाई देता है।
यहां हुई थी डफली वाले की शूटिंग। |
ब्रिटिश अधिकारी जॉन चेसन और पंचगनी - पचंगनी को और सुंदर बनाने का श्रेय 1860 में पदस्थापित ब्रिटिश अधिकारी जॉन चेसन को जाता है। उसे बागवानी का बहुत शौक था। उसने यहां पर कई तरह के नए नए तरह के तमाम पौधे लगवाए। इससे वातावरण और हरा भरा हो गया। ब्रिटिश अधिकारियों के लिए यह रिटायरमेंट स्थल की तरह था। पर कालांतर में पंचगनी देश का लोकप्रिय टूरिस्ट स्पॉट बनता चला गया।
कैसे पहुंचे - पंचगनी
पुणे या सतारा से बस से पहुंचा जा सकता है। आप सीधे मुंबई से टैक्सी से भी आ सकते
हैं। नजदीकी सुविधा जनक रेलवे स्टेशन पुणे या सतारा हैं। पुणे से पंचगनी कुल 100
किलोमीटर है। मुंबई से सीधी दूरी 285 किलोमीटर है।
--- विद्युत
प्रकाश मौर्य - vidyutp@gmail.com
( (PANCHGANI, SATARA, MAHARASTRA, SARGAM, FILM, TABLE LAND, PANDAV GUFA )
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